000 | 01498nam a22002777a 4500 | ||
---|---|---|---|
003 | IARI | ||
020 | _a9788126320912 (खंड: 1) | ||
020 | _a9788126320929 (खंड: 2) | ||
020 | _a9788126320936 (खंड: 3) | ||
020 | _a9788126320950 (खंड: 4) | ||
020 | _a9788126320967 (खंड: 5) | ||
020 | _a9788126330126 (खंड: 6) | ||
080 |
_a891.433.1 अ98 _bअ98 |
||
245 |
_aअज्ञेय रचनावली _cकृष्णदत्त पालीवाल सम्पादक |
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260 |
_aनई दिल्ली _bभारतीय ज्ञानपीठ _c2011 |
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490 | _aखंड: 1-6 | ||
500 | _aखंड: 1 अज्ञेय की सम्पूर्ण कविताएँ, 416 पृ.; खंड: 2 अज्ञेय की सम्पूर्ण कविताएँ, 520 पृ.; खंड: 3 अज्ञेय की सम्पूर्ण कहानियाँ, 694 पृ.; खंड: 4 शेखरः एक जीवनी(उपन्यास, दों भागों में), 503 पृ.; खंड: 5 'नदी के द्वीप' और 'अपने अपने अजनबी' (उपन्यास), 397 पृ.; खंड: 6, 416 पृ. | ||
700 | _aपालीवाल, कृष्णदत्त सम्पादक | ||
901 | _aHL5538 | ||
901 | _aHL5543 | ||
901 | _aHL5539 | ||
901 | _aHL5540 | ||
901 | _aHL5541 | ||
901 | _aHL5542 | ||
942 |
_2udc _cHB |
||
999 |
_c160394 _d160394 |